"Kaal Sarp Dosh Puja Cost 2026 | कालसर्प दोष पूजा खर्च, विधि और महत्व"

भारतीय सनातनी ज्योतिष शास्त्र में कालसर्प दोष (Kaal Sarp Dosh) को एक प्रभावशाली ग्रहदोष माना गया है। जब किसी जातक ( व्यक्ति) की जन्म कुंडली में सभी ग्रह राहु और केतु के बीच (मध्य) में आ जाते हैं, तब यह काल सर्प दोष बनता है। 
Kalsarp Dosha Prevention

🕉️ “कालसर्प दोष पूजा 2026 – ज्योतिषीय उपायों द्वारा जीवन में शांति, सुख और समृद्धि की प्राप्ति”?

ज्योतिष के अनुसार यह दोष जीवन में अनेक प्रकार की बाधाएं उत्पन्न करता है – जैसे विवाह में विलंब, संतान सुख की कमी, नौकरी-व्यवसाय में रुकावट, आर्थिक संकट और मानसिक तनाव। कालसर्प दोष निवारण का विस्तार से जानकारी पड़े मेरे ब्लॉग पर। 

*कालसर्प दोष

*कालसर्प दोष 2026

"कालसर्प योग

*कालसर्प दोष के उपाय

*कालसर्प दोष पूजा विधि

*कालसर्प दोष निवारण

*कालसर्प दोष का महत्व

*कालसर्प दोष के प्रकार

*कालसर्प दोष पूजा कब करें

*कालसर्प दोष का असर

*कालसर्प दोष से मुक्ति के उपाय

*कालसर्प दोष ज्योतिष समाधान

इसी कारण लोग कालसर्प दोष पूजा (Kaal Sarp Dosh Nivaran Puja) कराते हैं।

साल 2026 में भी कालसर्प दोष पूजा के लिए विशेष तिथियां और शुभ मुहूर्त उपलब्ध रहेंगे। साथ ही, इस वर्ष विभिन्न धार्मिक स्थलों पर इस पूजा का आयोजन विशेष पैकेज और शुल्क के साथ होगा।

कालसर्प दोष क्या है?

कालसर्प दोष तब बनता है जब जन्म कुंडली में राहु और केतु के बीच सभी ग्रह आ जाते हैं। यह दोष 12 प्रकार का होता है –

  1. अनन्त कालसर्प दोष
  2. कुलिक कालसर्प दोष
  3. वासुकी कालसर्प दोष
  4. शंखपाल कालसर्प दोष
  5. पद्म कालसर्प दोष
  6. महापद्म कालसर्प दोष
  7. तक्षक कालसर्प दोष
  8. कारकटक कालसर्प दोष
  9. शंखचूड़ कालसर्प दोष
  10. घटक कालसर्प दोष
  11. विषधर कालसर्प दोष
  12. शेषनाग कालसर्प दोष

इनमें से प्रत्येक दोष जीवन के किसी न किसी क्षेत्र को प्रभावित करता है।

कालसर्प दोष पूजा क्यों आवश्यक है?

  • विवाह में आ रही बाधाएँ दूर होती हैं।
  • संतान सुख की प्राप्ति होती है।
  • आर्थिक परेशानियों से मुक्ति मिलती है।
  • मानसिक तनाव कम होता है।
  • जीवन में स्थिरता और सफलता आती है।
Kalsarp Dosha Prevention

2026 में कालसर्प दोष पूजा कहां कराएं?

भारत में कई ऐसे धार्मिक स्थल हैं जहां कालसर्प दोष निवारण पूजा विशेष रूप से कराई जाती है –

  1. त्र्यंबकेश्वर ज्योतिर्लिंग, नासिक (महाराष्ट्र) – कालसर्प दोष पूजा का सबसे प्रसिद्ध स्थान।
  2. उज्जैन महाकालेश्वर मंदिर (मध्यप्रदेश)
  3. काशी विश्वनाथ मंदिर (वाराणसी, उत्तरप्रदेश)
  4. गया (बिहार) – पितृ दोष और कालसर्प दोष निवारण के लिए प्रसिद्ध।
  5. प्रयागराज (कुंभ मेला स्थल) – विशेष पर्वों और स्नान के दिनों में।

Kaal Sarp Dosh Puja Cost 2026

कालसर्प दोष पूजा का खर्च कई बातों पर निर्भर करता है – पूजा किस मंदिर में कराई जा रही है, कौन से आचार्य/पंडित पूजा करा रहे हैं, और पूजा कितने विस्तृत रूप में की जा रही है।

  • साधारण पूजा खर्च: ₹2100 – ₹5100
  • विशेष अनुष्ठान: ₹11,000 – ₹21,000
  • लग्जरी पैकेज (NRI/Foreigners): ₹25,000 – ₹51,000

👉 त्र्यंबकेश्वर और उज्जैन में ऑनलाइन बुकिंग की सुविधा भी मिलती है, जहां पहले से रजिस्ट्रेशन कराके पूजा कराई जा सकती है।

पूजा विधि (Step by Step)

  1. संकल्प और पूजन – आचार्य द्वारा जातक का नाम लेकर संकल्प।
  2. रुद्राभिषेक और नाग पूजा – शिवलिंग और नाग देवता की विशेष पूजा।
  3. कालसर्प दोष निवारण मंत्र जाप – विशेष मंत्रों का उच्चारण।
  4. हवन और दान – हवन के बाद अन्न, वस्त्र और दक्षिणा का दान।

कालसर्प दोष पूजा के लाभ

  • विवाह योग्य जातकों को विवाह में सफलता।
  • संतान प्राप्ति की संभावना।
  • व्यापार-नौकरी में प्रगति।
  • मानसिक शांति और स्थिरता।
  • पितृदोष से मुक्ति।
  • जीवन में सुख-समृद्धि और सफलता।

2026 में कालसर्प दोष पूजा के शुभ मुहूर्त

  • मासिक अमावस्या तिथियाँ
  • नाग पंचमी (अगस्त 2026)
  • श्रावण मास के सोमवार
  • ग्रहण काल

👉 इन विशेष दिनों में पूजा का प्रभाव सामान्य दिनों की अपेक्षा कई गुना अधिक माना जाता है।

विदेशी भक्तों के लिए कालसर्प दोष पूजा

2026 में कई प्रमुख मंदिर NRI और Foreign devotees के लिए Special Packages ऑफर करेंगे, जिसमें –

  • ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन
  • होटल बुकिंग
  • पंडितजी द्वारा संपूर्ण अनुष्ठान
  • वीडियो रिकॉर्डिंग या लाइव पूजा देखने की सुविधा

कालसर्प दोष पूजा और ज्योतिषीय उपाय

पूजा के अलावा भी ज्योतिष में कई उपाय बताए गए हैं:

  • नागपंचमी पर नाग देवता को दूध अर्पण करें।
  • शिवलिंग पर नियमित जलाभिषेक करें।
  • "ॐ नमः शिवाय" और "ॐ राहवे नमः" का जाप करें।
  • मंगलवार और शनिवार को गरीबों को भोजन कराएँ।

निष्कर्ष

कालसर्प दोष जीवन में कई प्रकार की कठिनाइयाँ ला सकता है, लेकिन यदि सही स्थान, सही समय और योग्य पंडित द्वारा पूजा कराई जाए तो इसका प्रभाव काफी हद तक कम हो जाता है।
2026 में कालसर्प दोष पूजा का महत्व और भी बढ़ जाएगा क्योंकि यह वर्ष कई शुभ योग और विशेष ग्रह स्थिति लेकर आएगा।

👉 यदि आपकी कुंडली में कालसर्प दोष है, तो इस वर्ष उपयुक्त मुहूर्त में यह पूजा अवश्य कराएं और अपने जीवन को सकारात्मक दिशा दें।

"कब है नागपंचमी 2026 पढ़ें मेरे ब्लॉग पर"

> डिस्क्लेमर

इस लेख में प्रस्तुत जानकारी कालसर्प दोष और उससे संबंधित धार्मिक, ज्योतिषीय एवं पारंपरिक मान्यताओं पर आधारित है। कालसर्प दोष भारतीय ज्योतिष शास्त्र में वर्णित एक विशेष योग है, जिसका प्रभाव व्यक्ति के जीवन पर सकारात्मक या नकारात्मक रूप से पड़ सकता है। परंतु यह ध्यान रखना आवश्यक है कि यह विषय आस्था और विश्वास से जुड़ा है।

इस ब्लॉग में बताए गए उपाय, पूजन विधि, मंत्र, दान और कर्मकांड परंपरागत मान्यताओं, पुराणों और ज्योतिषीय शास्त्रों से संकलित किए गए हैं। यह जानकारी केवल धार्मिक एवं सांस्कृतिक दृष्टिकोण से प्रस्तुत की गई है। पाठक अपनी श्रद्धा, विश्वास और व्यक्तिगत परिस्थितियों के अनुसार इनका पालन करें।

हम यह स्पष्ट करना चाहते हैं कि इस लेख में दी गई सामग्री को किसी प्रकार का वैज्ञानिक प्रमाण या चिकित्सकीय परामर्श न माना जाए। यदि आपको जीवन की किसी समस्या या निर्णय से संबंधित समाधान चाहिए, तो योग्य ज्योतिषाचार्य या धर्मगुरु से परामर्श करना उचित रहेगा।

साथ ही, हमारा उद्देश्य किसी भी प्रकार की अंधविश्वासी प्रवृत्ति को बढ़ावा देना नहीं है। हम केवल पाठकों तक भारतीय परंपरा, संस्कृति और ज्योतिषीय मान्यताओं का संप्रेषण कर रहे हैं।

पाठकों से अनुरोध है कि इस लेख को ज्ञानवर्धन और जानकारी के दृष्टिकोण से पढ़ें। आपके विश्वास और श्रद्धा के अनुसार ही कोई भी पूजा या उपाय करें।


एक टिप्पणी भेजें (0)
और नया पुराने